तो फर्स्ट ऑफ ऑल ये मेरी पहली स्टोरी है. तो कोई ग़लती वग़ैरा हो जाए तो माफ़ कर देना सब. मेरा कोई ऐसा ख़ास इंट्रो नही कार्ओौनगा मैं आपको. बस यही की लाहोर का रहने वाला हू, और 6 फीट हाइट है. और लंड का साइज़ 7 इंच लेंग्थ और 3-4 इंच गर्त है. बाकी असल मज़ा तो सब कुछ एक्सपेरिमेंट करने में नही सिर्फ़ ठुकाई में है. तो चलो कहानी शुरू करते है.
जैसे के मैने आप सब को बताया था, मैं लाहोर का रहने वाला हू. तो एक दिन मैं एक माल में गया अपनी शॉपिंग करने के लिए. मैने सोचा एक ग्लासस ले लेता हू. जैसे मैने सोचा ही लेने का तो सामने एक आउटलेट आ गया ग्लासस का (ब्रांड नही बतौँगा ).
फिर मैं उसमे चला गया. वाहा एक बहुत ही प्यारी लड़की डील कर रही थी. पुर आउटलेट को वो अकेली ही देख रही थी. फिर जैसे ही मैं अंदर गया, और ग्लासस चेक करने लगा, तो वो मेरे पास आई और कहती-
क्यूट गर्ल: हेलो सिर, हाउ मे ई हेल्प योउ?
तू मैने उसको बताया की मुझे एक ग्लासस लेनी है, तो उसने मुझसे पूछा के मेरा टेस्ट कैसा है ग्लासस में. फिर मैने उसको समझते हुए बोला की ऐसे ग्लासस पसंद है मुझे. तू वो सामने ही रखी एक ग्लासस ले आई चेक करवाने के लिए, लेकिन वो ग्लासस मुझे पसंद नही आए.
तू ऐसे ही मैने ऑलमोस्ट सारी ग्लासस चेक कर ली थी आउटलेट की. फिर मुझे एक ग्लासस पसंद आए, तो उसको भी सुकून हुआ की लीके कुछ तो पसंद आया. उस टाइम तक मेरी और आउटलेट की उस सेलेज़्गर्ल की अची ही हेलो हो गयी थी.
मैने उसको कहा: बिल कर दो ताकि मैं जौ.
लेकिन ई डॉन’त नो वाइ वो मुझसे फ्लर्ट सा कर रही थी. फिर उसने मुझसे कहा की उनके कुछ और भी डिज़ाइन थे. ये बोल कर उसने मुझसे मेरा नंबर माँगा की वो डिज़ाइन Wहत्साप्प कर देगी. मैने भी कहा तेख है, और नंबर दे दिया उसको. फिर मैं बिल करवा कर घर वापस आ गया.
मैं घर वापस आ कर बहुत तक सा गया था, तो मैं सो गया. फिर रात को ऑलमोस्ट 12-1 बजे तक मेरी आँख खुली. मैने Wहत्साप्प चेक किया तो एक अननोन नंबर से 11 बजे “ही” का मेसेज आया हुआ था. मैने भी “?” भेज दिया.
फिर उसने मुझे बताया की वो आउटलेट वाली सेलेज़्गर्ल थी, और हमारी बात शुरू हो गयी. कुछ दिन ऐसे ही गुज़र गये. इसी दरमियाँ उसने मुझसे पूछा की मैं सिंगल हू या नही. और ऐसी ही सारी बातें पूछी.
मैने भी कॅष्यूयली सारे जवाब दे दिए, और हमारी काफ़ी अची बॉनडिंग हो गयी थी. हम ऑलमोस्ट रोज़ बातें करते थे. लेकिन अब वो ओपन्ली फ्लर्ट करती थी. मैं ये सब भी एंजाय करता था.
कुछ 2 या 3 वीक्स बाद उसने मुझसे मिलने को कहा, तो मैने कहा-
मैं: मैं आउटलेट पर आ जाता हू.
बुत उसने कहा: नही, आज मेरा ऑफ है. तो मैं वाहा नही अवँगी आउटलेट पर.
फिर उसने मुझे अपने फ्लॅट पर बुला लिया और साथ में लंच करने को बोला. हमारी बॉनडिंग भी अची थी, तो मैने भी इनकार नही किया, और चला गया. उसका फ्लॅट फरोज़पुर रोड के पास ही था, तो मैं ईज़िली चला गया.
मैने उसकी लोकेशन पर पहुँच कर उसको कॉल की, तो वो मुझे बाहर रिसीव करने आई. क्या कमाल की लग रही थी वो. इससे पहले मैने उसको हमेशा देसी वेर में ही देखा था. लेकिन आज उसको वेस्टर्न में देख कर मेरा दिल मचल सा गया था. बुत मेरे दिल में कोई ग़लत बात नही आई उसके लिए.
हम उसके फ्लॅट में चले गये, और उसने डोर बंद कर दिया. फिर उसने मुझे सोफे पर बिताया और मेरे लिए पानी लेने गयी. मैं भी कॅष्यूयली फ्लॅट चेक कर रहा था. इतनी देर में वो भी वापस आ गयी.
फिर मैने पानी पिया, और हम लोग बात करना शुरू हो गये. पता नही आज वो क्यूँ मेरे क्लोज़-क्लोज़ हो रही थी. वो मेरी थाइ को हाथ लगा रही थी. जब मैने कोई रिक्षन नही दिया, तो शायद उसमे और हिम्मत आ गयी. और अब वो दबाना भी शुरू हो गयी. मैने फिर भी कॅष्यूयली रिक्ट किया, तो उसको और हिम्मत मिल गयी.
मैं आपको उस क्यूट लड़की के बारे में तो बताना ही भूल गया. उसका नाम मीनहिल था, और उसकी आगे करीब-करीब 24-25 साल होगी. और उसकी बॉडी कर्वी थी, जो बहुत अची लग रही थी.
तो मीनहिल ने मुझसे पूछा: खाना कब खाओगे?
तो मैने उसको कहा: अभी तो भूख नही है. थोड़ी देर बाद खाते है.
उसने भी एस में सर हिलाया. शायद वो यही चाहती थी. अभी वो तोड़ा सीरीयस हो रही थी. जैसे की मैने आपको बताया था, की हम सोफे पर बैठे थे, तो उसने अपनी एक टाँग उठा कर मेरी थाइ पर रख दी, और उसके पावं मेरे डिक ( लंड) को टच हो रहे थे.
पहले तो मैने कुछ नही कहा. लेकिन जब वो ज़्यादा पावं से मलने लगी, तो मैने उसका पावं हटा दिया. क्यूंकी मैने जीन्स पहनी थी, और उसमे इतनी जगह नही थी. इसलिया मुझे दर्द सा हो रहा था.
जैसे ही मैने उसका पावं हटाया, उसको पता चल गया की मेरा डिक(लंड ) अभी खड़ा हो गया था. फिर वो जंप करके मेरी गोद में आ कर बैठ कर, एक-दूं से मुझे किस करने लग गयी. पहले तो मैने उसको हटाने की कोशिश करी, बुत वो इतना पॅशनेट्ली कर रही थी, की मैं भी तुर्न ओं हो गया.
तो उसने मेरा हाथ पकड़ कर अपनी बूँद पर रख दिया ( आस), और मैं उसको दबाने लगा. वो रुकने को ही नही हो रही थी. 10 मिनिट बाद वो रुकी. मेरे सामने ही मिरर था. मैने उसमे देखा तो उसने ऑलमोस्ट मेरा पूरा मूह लाल कर दिया था अपनी लिपस्टिक से.
फिर वो कहती: अपने कपड़े उतरो.
और वो खुद अपने कपड़े उतारने लगी.
मैने कहा: खुद ही उतार दो.
तो उसने एक नॉटी स्माइल दी, और मेरी शर्ट के बटन खोले, और उतार दी. फिर उसने मेरे निपल्स पर ज़ुबान लगा कर लीक किया. मुझे अजीब सी फीलिंग आ रही थी. फिर वो उठी, और मेरी बेल्ट खोल कर मेरी पंत और अंडरवेर दोनो एक साथ ही उतार दिए.
अब हम दोनो बिल्कुल नेकेड थे. उसने मुझे खड़ा होने भी नही दिया, और एक-दूं से ज़मीन पर बैठ कर मेरे लंड पर अपनी ज़ुबान लगाई, और एक छ्होटे बच्चे की तरह उसको चूसने चाटने लगी.
मुझे बहुत अछा लग रहा था. मुझे नही पता था वो इतनी एक्सपर्ट थी इस काम में. 5 मिनिट के बाद मेरा लंड अपनी फुल फॉर्म में था. वो उठी, और उसने मुझसे पूछा कॉंडम है मेरे पास.
तो मैने ना में सर हिला दिया. पहले तो उसको कुछ समझ नही आया. उसकी फुददी (पुसी ) बिल्कुल ड्राइ थी. लेकिन वो बहुत तड़प थी थी. उसका जो थूक मेरे लंड पर लगा था, उसने वही काम में लिया.
मुझे कुछ नही दिखा, और वो सीधा आ कर मेरी गोद में बैठ गयी, और सोचे समझे बगैर मेरा लंड अपनी फुददी में सेट किया, और ज़ोर से जान लगा कर नीचे बैठ गयी. उसने शायद पहले इतना बड़ा लंड कभी नही लिया था, और उसको जल्दी इसलिए थी, की कही मैं कॉंडम के बगैर करने से माना ना कर डू.
इसलिए उसने सोचे समझे बगैर ये कदम उठाया. लेकिन वो उस पर भारी पद गया. लंड थूक की वजह से उसकी फुददी को अंदर से चीरता हुआ पूरा अंदर घुस गया. जब अंदर घुसा तो मीनहिल में से जैसे जान सी ही निकल गये.
उसकी चीख निकली, फिर उसने ठंडी साँसे ली. मैने जल्दी से उसको बगैर हिलाए उसको कमर पर थप्पड़ मारे. कुछ 2 मिनिट बाद वो सही हुई. हलाकी वो वर्जिन नही थी, फिर भी उसकी फुददी में से खून निकल रहा था.
अब शायद उसका दर्द तोड़ा कम हो गया था. अब वो खुद ही उपर-नीचे होने लगी. मुझे मज़ा तो आ रहा था. मुझे दर्द भी हो रहा था. बिकॉज़ सोफा इतना कंफर्टबल नही था, और जब वो जान लगा कर नीचे आती थी, तो मेरी बॉल्स डब रही थी.
मैने उसको ऐसे ही गोद में उठाया, और उससे पूछा: बेड किधर है?
उसने हाथ से इशारा किया, तो मैं उसको सीधा बेडरूम में ले गया, और बहुत ही प्यार से उसको बेड पे रखा और मिशनरी पोज़िशन में उसको छोड़ने लगा. पच्छ-पच्छ की आवाज़े आ रही थी रूम में.
पहले तो उसको दर्द हो रहा था. वो बोल रही थी आहिस्ता-आहिस्ता करने को. लेकिन बाद में नीचे से फुददी उठा-उठा कर चुड रही थी. हमारी चुदाई को 15-20 मिनिट हू गये थे. इस दौरान वो 2-3 बार फारिघ् हो गयी थी (कम कर दिया था). अब मेरी बारी थी.
मैने उससे पूछा: कहा निकालु?
तो उसने मेरी कमर ज़ोर से दबा दी दोनो हाथो से. मैं समझ गया उसका इशारा और लास्ट की शॉट्स अपनी फुल ताक़त से मारी. यहा तक की उसकी आँखों से आँसू निकल आए, बुत उसने छ्चोढा नही, और मैने अपना सारा माल उसके अंदर ही निकाल दिया.
उस दिन हमने 3 बार चुदाई की, और इस बात को 3 महीने हो गये है. हम हर हफ्ते में 2-3 बार मिलते है, और वो मुझसे चुड़वति है.
उमीद करता हू आपको केरी असल कहानी अची लगी. अगर कोई ग़लती हो गयी हो, तो माफ़ कर देना.
लाहोर में अगर कोई भी अनसॅटिस्फाइड लड़की या औरत मुझसे मिलना चाहती है, तो वो मुझसे इस एमाइल पर लिंक कर सकती है. आपकी प्राइवसी मेरे लिए सबसे ज़रूरी है.