हेलो, मेरा नामे रोहित कॉल बॉय है. मैं राजस्थान से हू, और लंड का साइज़ 7 इंच है. यहा काई लोगों की मुझे मेल्स आई है. मैने अब तक बहुत गर्ल्स, भाभियों, और औंतीयों को छोड़ा है.
कुछ लोग कहते है की ये स्टोरी फेक है. तो सभी से कहना चाहता हू. ये स्टोरी बिल्कुल भी फेक नही है. ये एक रियल सेक्स कहानी है. मैने अपनी दोस्त डीपू की मा को छोड़ा था. उसी के बारे में आपको इस कहानी में बताया है.
जैसा सेक्स और बातें आंड सब कुछ जो रिलेशन्षिप में हमारे साथ हुआ था, वो सब मैं आपको बता रहा हू. अब आप स्टोरी का मज़ा लीजिए.
मैं: उहह उम्म्म मेरी रानी, रंडी, जान. क्या क़ास्सी हुई गांद की मालकिन है तू? कसम से तुझे छोड़ने में जो मज़ा है, वो कही नही है. ये ले, ये ले, और ले साली.
अब आयेज से:-
निशा: आह आह श उहह उहह. प्लीज़ छानते मत मारो ना. दर्द हो रहा है. बिना मारे छोड़ लो ना आप. बहुत बेरहम हो, ज़रा भी नही सुनते.
मैं: इसी चुदाई में तो मज़ा आता है. साली रंडी तुझे तो मैं हर जगह छोड़ूँगा. देखती जेया तेरे बदन को खा जौंगा.
निशा: आह आह मा बस. प्लीज़ एस एस और छोड़ो. एस मज़ा रहा है. छोड़ लो मुझे. अपनी रंडी बीवी जान को.
मुझे भी आपके साथ रहना है. मेरे हरामी छूतिए पति ने कभी ऐसा मज़ा नही दिया. आप सॅकी में एक असली मर्द हो. हर औरत को ऐसा ही मर्द चाहिए. जो पूरी मर्दानगी से अपनी बीवी को बिस्तर पर रग़ाद दे. उहह उहह मा एस एस छोड़ो. आप पुर हरामी ज़ालिम मर्द हो. क्या चुदाई करते हो, मेरी तो जान निकाल दी है.
मैं: हा आह उहह. साली तू भी तो मस्त कामुक बदन की मालकिन है. तेरे खूबसूरती और तेरा ऐसा मस्त बदन. किसी को भी मर्द बना दे.
मैं बातें करते हुए उसकी गांद में धक्के दिए जेया रहा था. वो भी गरम होके चुदाई का मज़ा ले रही थी. मैं कभी छूट में तो कभी गांद में लंड घुसा देता. निशा बस स्लॉट पर दबी रह के सिसकियाँ लिए जेया रही थी.
निशा की गांद में कड़क लंड अंदर तक घुसे जेया रहा था. लंड अपनी पूरी ताक़त से गांद की चुदाई में लगा हुआ था. निशा स्लॉट पर मूह दबाए आँखें बंद करके सिसकियाँ लेते हुए मुझे जोश दिला रही थी.
निशा: आह आह एस एस छोड़ो और छोड़ो मुझे. मेरे पातिदेव और छोड़ो मुझे. फाड़ दो मेरे गांद, निकाल दो सारा रस्स अपना.
निशा की गरम सिसकियाँ सुनते हुए गांद पर छानते मारते हुए छोड़े जेया रहा था. लंड के काले बॉल्स गांद पर लग रहे थे. मेरे मूह से भी उहह उम्म्म आह निकल रहा था.
दोस्तों मेरे दोस्त की सेक्सी मा बहुत ग़ज़ब की थी. उसकी गांद मारने में मज़ा आ रहा था. निशा को छोड़े हुए मुझे अब तक 35 से 40 मिनिट हो गये. मैं अब झड़ने वाला था. लंड अब और कड़क होके गांद चुदाई कर रहा था.
मेरे हर झटके पर निशा पूरी हिल जाती थी. उसे पहली बार किसी मर्द का लंड मिला था. मैं उसे छोड़ने में लगा हुआ था. मैने उससे कहा-
मैं: आह ऑश मेरी रंडी. मेरा निकालने वाला है. साली तेरे मूह में दूँगा.
निशा: जहा मॅन करे वाहा पे दो. छोड़ो और पीला दो अपना वीर्या. आपने आज मुझे पूरी औरत बना दिया है.
मैने अब गांद से लंड निकाला, और निशा को जल्दी से नीचे बिताया. निशा भी मुस्कुराते हुए मूह खोल कर बैठ गयी. मैने उसके बाल पकड़ कर लंड एक ही बार में मूह में दे दिया.
इससे आंटी का मूह फूल गया, और आँखों से आँसू आने लगे. निशा की आज दर्द भारी डुमदार चुदाई हुई थी. अब उसके मूह की बारी थी. वो बस मेरे हर धक्के को पत्नी धरम समझ कर से रही थी.
निशा के मूह से उम्म्म उम्म्म ह्म की आवाज़ आ रही थी. मैं उसके बाल पकड़ कर लंड गले तक घुसने लगा. हर शॉट पर निशा के बूब्स और उसका मूह हिल जाता.
निशा ने अपने दोनो हाथ मेरे पैर पर रखे थे. वो मुझे डोर करने की कोशिश कर रही थी. मैं बिना रुके मूह चुदाई करने लगा. निशा की चुदाई से मेरे मूह से सिसकियाँ निकल रही थी.
मैं: आह श मेरे जान. बस तोड़ा और से ले. मेरा अब निकालने को है. सारा पी जाना मेरी रानी.
5 मिनिट से मैं उसकी बिना रुके मूह चुदाई कर रहा था. निशा बस मेरे हर धक्के को से रही थी. उसे भी पता था मैं जब झड़ने वाला होता हू तो कुछ नही सुनता.
तभी मेरे लंड ने एक झटका दिया. जिससे लंड गले में डब गया और एक पिचकारी के साथ लंड का सारा वीर्या निशा के मूह में निकाल दिया. निशा भी आँखें बंद करके मेरा पूरा गरम वीर्या पी गयी.
2 मिनिट और मूह में लंड रख कर निशा ने लंड मूह से निकाला. लंड बाहर आते ही वो ज़ोर-ज़ोर से साँसे लेने लगी. उसके चेहरे से आँसू और मूह से तोड़ा सा वीर्या तपाक रहा था. निशा का चेहरा मूह चुदाई और उसके रोने से खराब हो गया था. वो मुझे देखते हुए संत्ुस्ती भरे चेहरे से बोली-
निशा: उफ़फ्फ़ उहह. कितना छोड़ते हो आप? मेरी आज जान निकाल दी. पूरा बदन दर्द करने लगा है. आप धीरे कोई काम नही कर सकते हो? देखो मेरे मूह का क्या हाल बना दिया है. ऐसा लग रहा है जैसे आप मुझसे प्यार नही करते. आपने मुझे कुटिया की तरह छोड़ा है.
मैं: अर्रे मेरी रानी, तू गुस्सा क्यूँ होती है? ये मेरा प्यार है. तुझे प्यार करता हू तभी तो तेरे साथ सब कुछ करता हू. हम प्यार करने वाले के साथ ही सब करते है ना.
निशा: ज़्यादा बनो मत. बातें बना रहे हो आप. आपके अंकल ने भी कभी ऐसा नही किया.
मैं: साली उस हिजड़े को छोड़ना कहा आता है. तू खुद बता आता है उसे छोड़ना? कभी छोड़ा है तुझे आचे से?
निशा: नही, लेकिन प्लीज़ आप अब से धीरे से किया करोगे.
मैं: अछा मेरी जान, ओक. लेकिन कभी-कभी मुझे रफ सेक्स करने देगी? हार्ड और रफ में बहुत मज़ा आता है.
निशा अभी भी हाँफ रही थी. उसके बूब्स उपर-नीचे हो रहे थे. वो तोड़ा गुस्सा और नखरे करते हुए मुझसे बात कर रही थी. मेरा लंड अभी 5 इंच खड़ा था.
मैने कहा: चल अब इसे सॉफ तो कर दे.
निशा: अभी इतना सब कुछ कर लिया ना. अब कुछ नही प्लीज़.
मैं: मेरी जान निशा रानी. तू नही करेगी तो कों करेगा?
निशा फिर हेस्ट हुए लंड पकड़ कर उसके टोपे को चाटने लगी. मेरे मूह से श निकल गया.
निशा ने 5 मिनिट तक लंड के टोपे और बॉल्स को छाता. वो कसम से खूब आचे से अपना काम करती थी. मैने उससे कहा.
मैं: वाह रानी, तेरे जैसी औरत आज तक नही मिली. तू पूरा आचे से साथ देती है.
निशा: क्या करू, मुझे भी आपके साथ अछा लगता है. बुत आप कभी-कभी बहुत बेदर्द हो जाते हो. मुझे दर्द होता है. आज आपने मेरा पूरा बदन तोड़ दिया है.
मैं: कोई बात नही जान. कल हम कुछ नही करेंगे. कल पूरा दिन तू रेस्ट करना.
निशा ये सुन कर हासणे लगी, और हेस्ट हुए वही बिस्तर पर लेट गयी. अपने हाथ उपर करके मुझे बुलाते हुए बोली-
निशा: आओ ना अपनी जान के पास. आप बहुत स्वीट हो. लोवे योउ, लोवे योउ सो मच.
मैं भी हेस्ट हुए उसके पास आ गया. निशा ने मुझे बाहों में लेते हुए अपने उपर लिटा लिया. वो मेरे नीचे नंगी लेती हुई थी. मुझे कस्स के पकड़ कर गले लगाने लगी. मैं भी मेरी जान के होंठो को चूसने लगा. थॅंक्स. [email protected]