ही फ्रेंड्स, उमिद है आपकी “ममता भाभी के बड़े बड़े बूब्स-1” पसंद आया होगा. अब आयेज..
अब मैं ममता भाभी के घर जाने के भहने देखता रहता था. क्यो करूँ ममता भाभी मेरे दिल दिमाग़ मे छा गयइ थी. मैं उन्हे बहोट पसंद करने लग गया था. दोस्तो अब मैं ममता भाभी के बारे मे मैं आप सब को बतता हूँ. तब आपको पता चलेगा की मैं क्यो भाभी का दीवाना बन चुका था.
ममता भाभी एक हाउस वाइफ है, वो बहोट ही सेक्सी और हॉट लेडी है. दिखने मे एक दम फूल सी नाज़ुक. उनके खूबसूरत जिस्म मे किसी भी चीज़ की कमी न्ही थी. उनका गोरा रंग और उपेर से चाड सा खूबसूरत चेहरा.
खूबसूरत चेहरे के पर दो बड़ी बड़ी काली आँखें और उनके काले लंबे घने बाल. एक दम हॉट सेक्सी फिगर, उनके चेहरे से ज़्यादा गोरे उनके बूब्स और बूब्स के उपेर हल्के ब्राउन कलर के निपल्स. जब वो सारी डालती थी तो उनका चिकना पेट और पीछे उनके बाहर निकलते, गोल गोल मोटे चुटटर.
जब भी भाभी जीन्स टॉप डालती थी, तो कयामत लगती थी. क्योकि टॉप मे से उनके बाहर निकलते बूब्स सच मे बहोट खर्टनक लगते थे. और नीचे उनकी गंद भी जीन्स मे एक दम अपनी पूरी गोल शेप मे दिखती थी. जो हम जेसे कवरे लड़को के लंड को लाग लगाने के लिए काफ़ी थी.
मैने एक बार भाभी को स्कर्ट मे भी देखा था. वो नज़ारा भी आज तक मेरी आँखो से गायब न्ही हुआ है. स्कर्ट मे उनकी गोरी चिकनी टाँगे, देखते ही मान करता है. की अभी जीब से उनकी मैं सारी टाँगे छत जौन. उनके मस्त मोटे गोरे पट्ट एक दम माखन की तरह सॉफ्ट थी.
मैने तो उनकी स्कर्ट मे चोरी से उनकी एक फोटो भी ले ली थी. जिसे देख देख कर मैं काफ़ी मूठ मरता था. तो दोस्तो एक दिन वो आ ही गया, जिस दिन मैं बेसब्री से इनेत्ज़र कर रा था.
हुआ कुछ ऐसे की उस दिन मेरी च्छुटी थी. मैं सुबह 11 बजे के करीब किसी काम से मार्केट जाने लग गया था. तभी मम्मी ने मुझे रोकते हुए, भाभी का समान मेरे हाथ मे दे दिया, और वो बोली.
मम्मी – बेटा ये ज़रा जाते हुए अपनी भाभी को प्कड़ा डियो.
मैं तो वेसए भी भाभी के घर जाने का मोका देखता रहता था. और मुझे ऐसा लगा, मानो की मम्मी ने मुझे बाहर जाने का वीसा दे दिया हो. मैं झट से उनके हाथ से वो समान लिया और उनके घर की और निकल गया.
मैने कोई गाते नॉक न्ही किया और धीरे से गाते खोल कर मैं अंदर चला गया. फिर मैं डोर बेल बजाई पर बाहर कोई न्ही आया, फिर मैने ऐसे ही डोर खोलने की कोशिश करी तो देखा डोर ओपन था.
मुझे लगा भाभी बातरूम मे होगी या उपेर च्चत पर होगी. फिर मैं धीरे से अंदर गया और ना जाने क्यो मैने अंदर आ कर डोर अंदर से बंद कर दिया. अंदर आ कर मैने देखा की एक दम शांति थी. ऐसा लग रा था, मानो घर पर कोई भी ना हो.
मैने पहले किचन मे देखा, पर व्हन पर भी भाभी न्ही थी. फिर मैं सीधा उनके बेडरूम की तरफ गया. बेडरूम का डोर खुला था, जेसे ही मैं बाहर से अंदर देखा तो एक बार तो मुझे जोरदार झटका लगा.
मेरी सारी हवा निकली गयइ, मेरी गंद ना जानते क्यो टाइट हो गयइ. मेरी हवा उस टाइम गुल हो गयइ थी. क्योकि दोस्तो मैने आज से पहले ऐसी चीज़ कभी न्ही देखी थी. डर्सल बात ये थी, की भाभी बेड पर पूरी नंगी ल्ट हुई थी. भाभी ने ब्लू कलर की नाइट डाली हुई थी.
जो उन्होने अपने बूब्स के उपेर तक कर र्खी थी. वो शायद अपने बचे को दूध पीला र्ही थी, और दूध पाइलेट पाइलेट हुए वो सो गयइ. और उनका बचा दूध पीते हुए सो गया.
भाभी पूरा नंगा जिस्म मेरे सामने था, मुझे कुछ साँझ न्ही आ रा था. की मैं क्या करूँ, क्योकि ऐसी मस्त चीज़ मैने पहली बार लिव अपनी आँखो के सामने देखी थी. भाभी दोनो बूब्स आज़ाद इतने मस्त लग र्हे थे, की बस पूछो मत. उनके दोनो निपलेस पर तोड़ा तोड़ा दूध लगा हुआ था.
जो की उनके बूब्स से निकल रा था. ब्राउन रंग के निपल्स पर एक दम वाइट दूध बहोट ही मस्त लग रा था. बूब्स के नीचे उनका चिकना पेट वो भी सच मे बहोट मस्त लग रा था. वेसए तो उनका पूरा जिस्म ही बहोट चिकना था.
पेट के नीचे उसके दोनो मोटे मोटे चिकने मूल्याँ पत्तो के बीच फासी हुई उनकी गोरी चिकनी छूट सच मे बहोट मस्त लग र्ही थी. उनकी छूट पर एक भी बाल न्ही था. ये देख कर मैं काफ़ी खुश हो गया, क्योकि बिना बालो की छूट ही सबसे सनडर होती है.
और जो औरत या लड़की अपनी छूट का इतना ध्यान र्खती हो. तो साँझ जाना चाहईीए की वो अपने पति की खुशी का कितना ढयन र्खती होगी. खैर मुझे उस टाइम कुछ साँझ न्ही आ रा था, की आख़िर मैं क्या करूँ. भाभी को मैं कभी इस रूप मे देखूँगा. ये मैने कभी सपने मे भी न्ही सोचा था.
वो सच मे बहोट ज़्यादा सनडर और खूबसूरत लग र्ही थी. फिर मैं हिम्मत करके उनके बेडरूम मे गया, और उनके पास जा कर उनके नंगे जिस्म को देखने लग गया. मेरा मान कर रा था, की मैं उनके नंगे गोरे जिस्म को चूम लून. उनके बूब्स के निपल्स पर लगा दूध अपनी जीब से छत लून.
फिर मैने हिम्मत करके उनके बूब्स के निपल्स पर लगा दूध अपनी उंगली पर लगया और टेस्ट किया. सच मे उनका दूध काफ़ी टेस्टी था. मुझे अब बर्दाश न्ही हो रा था. इसलिए मैने अपना लंड पंत मे से बाहर निकाला और ज़ोर ज़ोर से हिलने लग गया.
मेरा मान था की अपने लंड की पिचकारी सीधे भाभी के उपेर गिरा डून. पर इससे भाभी जाग स्काती थी. इसलिए मैने अपने लंड वापिस से अंदर दल लिया. और फिर मैं उनके पास खड़ा हो कर उनके नंगे जिस्म को देखता रा. मैं उनके जिस्म के एक एक हिस्से को पास हो कर देख रा था.
मैं उपेर वेल की कारगिरी की मान ही मान बहोट तारीफ कर रा था. सच मे भाभी को भगवान ने बहोट ही फ्री टाइम मे बनाया था. उनके नंगे आज़ाद बूब्स देख कर मेरा मान बार बार उन्हे पकड़ने का हो रा था. पर मेरी ऐसा करने की हिम्मत न्ही हो र्ही थी.
इसलिए पास पड़ी चेर पर बैठ कर उनके जिस्म को देखता रा. कुछ देर बाद भाभी की नींद खुली. उन्हे इस बात का ज़रा भी अंदाज़ा न्ही था, की मैं उनके नंगे जिस्म को करीब 20 मिनिट से देख कर अपनी आँखें सीक रा था. जेसे ही उन्होने मुझे देखा तो उनकी गंद फाट गयइ.
भाभी ने जल्दी से अपनी निगती नीचे करी और अपने कपड़े सेट करते हुए बोली.
भाभी -अरी होनेट तू कब आया और मेरे बेडरूम मे क्या कर रा है तू ?
मैं बहोट प्यार से मुस्कुराते हुए बोला – भाभी जी मुझे तो आए हुए 15-20 मिनिट हो चुके है.
भाभी मेरी शेटानी स्माइल देख कर साँझ गयइ थी, की मैं उनके नंगे जिस्म के नज़ारे तब से ले रा हूँ. इस बार भाभी थोड़े से गुस्से मे मुझे बोली.
भाभी – तू क्या आते हुए डोर बेल न्ही बजा स्कता था, किसी के बेडरूम मे ऐसे बिना पूछे आना ये बहोट ग़लत है.
मैं – भाभी प्लीज़ आप गुसा ना कीजिए. आप गुस्से मे ज़रा भी अची न्ही लगती मुझे. वेसए मैं आने से पहले डोर बेल बजाई थी, पर किसी ने डोर खोला न्ही थी. तो मैं सीधा अंदर आ गया, और जब मैं अंदर आया तो आपको बिना कपड़ो को देखा. उसके बाद तो भाभी मुझे ना तो उसके साइवा कुछ और दिखा और ना ही कुछ और सूझा मुझे.
भाभी मैं तो पहले से ही आपको बहोट पसंद करता था. पर आज आपको इस रूप मे देख कर मैं पागल हो गया. मैने कभी सपने मे भी न्ही सोचा था, की मैं आपको इस हालत मे कभी देखूँगा. कसम से आप बहोट ही सनडर हो भाभी जी.
दोस्तो अब इससे आयेज भाभी ने मेरे साथ क्या किया, मुझे अपनी छूट प्यार से दी या मैने ज़बरदस्ती उनकी छूट मारी. ये मैं आपको इस कहानी के आख़िर और सबसे मस्त भाग मे बटुंगा.
तब तक के लिए आप एक बार फिर से मुझे ये बताए की भाग मे आपको मेरी कहानी मे मज़ा आया या न्ही. और प्लीज़ अपने कॉमेंट्स और लीके करना ना भूलें, मुझे हुंषा उनका इंतेज़ार रहता है.
आपका अपना प्यारा हनी. [email protected]