ये स्टोरी मेरे मम्मी के बारे मेी है. उनका और मेरे पापा का डाइवोर्स हो गया था जब मई 5 साल का था. डाइवोर्स के बाद से मम्मी बहोट अकेली हो गयी और डिप्रेशन मेी चली गयी थी. और वान्हा मेरे पापा ने दूसरी शादी काली. मेरी डिप्रेशन और स्ट्रेस की वजह से रेग्युलर मेडिसिन्स लेती थी.
अब मई अपनी मम्मी के बारे मेी बताता हूँ. उनकी आगे 45 है. उनका राँग गोरा और फिगर करीब 36-32-36 है. दिकने मेी वो बहुत सुंदर और अची है की कोई भी फिदा हो जाए.
अब मई स्टोरी पे आता हूँ..
एक दिन मई नहा रहा घ, तभी मेरे फोन की घंटी बाजी. मेरा दयहन नही गया क्यूंकी फोन दूसरे रूम मेी था. फिर जब मई बातरूम से बाहर आया तो मुझे मम्मी के गिरने की आवाज़ आई तो मई भाग के दूसरे रूम गया.
वान्हा देखा तो मम्मी बेड के साइड फ्लोर पाद के गिर गयी थी. मैने उनको उठाया और पानी पिलाया. फिर मैने पूछा की क्या हुआ? तो मम्मी के बताया की टुमरे पिताजी और नही रहे उनकी हार्ट अटॅक से डेत हो गयी. ये बताने के बाद वो फूट फूट कर रोने लगी.
मैने मम्मी को सेनए से लगाया और थोड़ी देर बैठा रहा. थोड़ी देर बाद मम्मी शांत हुई और बोली चल पॅकिंग कर हमे अभी तुम्हारे पिताजी के घर जाना है. उन्होने मूज़े बाज़ार से एक वाइट सारी और ब्लाउस लाने को कहा. मैने अपने दोस्त सम के पास गया क्यूंकी उसके पिताजी लॅडीस टेलर थे.
सम और मई बचपन के पके दोस्त थे और इन्सेस्ट स्टोरी के पागल थे. तो हम दोनो ने प्लान बनाया की कैसे इश् मोके का फ्यदा उठाए और मेरी मम्मी के साथ सेक्स करे.
मैने सम से बोलकर एक सेक्सी सी डीप नेक ब्लाउस और ट्रॅन्स्परेंट सारी. फिर हुँने कुछ पवरफुल बेहोसी की टॅबलेट और एक पॅकेट कॉंडम ले आया एक दोस्त से जिसका मेडिसिन का शॉप था.
हुँने 3 मुंबई की रिज़र्वेशन टिकेट कराई और मैने सम को डाइरेक्ट्ली स्टेशन पे मिलने को बोला.
फिर मई कपड़े लेकर घर गया और मम्मी को दिए. मम्मी ने बिना देखे रख लिए. मम्मी और मैने लंच किया और फिर मैने उन्हे बेहोसी की पवरफुल टॅब्लेट्स दी और हुँने 1 घंटे का रेस्ट लिया क्यूंकी ट्रेन शाम के टाइम थी.
थोड़ी देर बाद मैने उन्हे उठाया और रेडी होने को बोला. वो टॅब्लेट्स की वजह से अभी पूरे होश मेी नही थी. जेसे तेसे कर वो उठी और कपड़े पहने लगी. उन्होने मुझे बोला की ब्लाउस बोहुत डीप नेक है और अंडरगार्मेंट्स भी बहुत टाइट है उपारसे सारी भी छोटी और ट्रॅन्स्परेंट है.
मैने कहा की अभी तो कुछ कर नही सकते आप ऐसे ही चलिए. उन्होने जेसे तेसे सारी पहईना और हम चल दिए.
रास्ते मेी हल्के बारिश की वजह से मम्मी के कपड़े थोड़े गीले हो गये थे और उनके बूब्स अची तरह दिकरहे थे. स्टेशन पे काफ़ी लोग मेरी मम्मी के मुममे को घिर रहे थे उनके टाइट ब्रा की वजह से.
सम वान्हा पहेले से ही था. उसने हमे देखा और हम तीनो ट्रेन के डिबे के अंदर चले गये. स्टार्टिंग मेी ट्रेन मेी बहोट भीड़ थी पर जस्से जस्से रात हो रहिति वेससे वस्से लोग कम हो रहे थे. लास्ट मेी हम तीनो के अलावा बस और 2 जेंट्स करीब 30-40 के आगे के.
करीब रात के 11:30 बजे ट्रेन एक स्टेशन पे रुकी और सम और मेी पानी के लिए स्टेशन मेी उतरे. मम्मी अभी भी होश मेी नही थी और वो ट्रेन मेी अकेली थी.
जब हम वापस आए तो देखा की मम्मी अपनी सीट पे नही है. ट्रेन काफ़ी अंधेरा था उसकी वजह से ज़्यादा डोर नही दिख रहा था. फिर मेी देखा की मम्मी बातरूम के नीचे लेती हुई है और एक आदमी उनकी ब्लाउस फाड़ने की कोशिश कर रहा है और दूसरा उपारसे ही मुम्मो को चूस रहा है.
जासे ही उन्होने हमे देखा तो वो भागने लगे मेी भी उनके पीछे भगा पर वो मेरे हट से निकल गये.
मेी जब वापस आया तो देखा की सम मेरी मम्मी के बूब को दबा रहा था और ब्लाउस फटने की वजह से बाहर आ गया था जब मैने उससे पुचछा की तू ये क्या कर रहा है तो वो बोला की इश्स कम के लिए तो इससे यहा लाए हैं.
तो मेी कुछ नही बोला और वापस हमने मम्मी उपर वेल सीट पे सुला दिया. मम्मी के फटे हुए ब्लाउस के थ्रू उसके आम देख कर सम से कंट्रोल नही हुआ. तो वो भी उपर चाड कर मेरी मम्मी के उपर चाड गया और ब्लाउस को पूरा खोल दिया.
फिर उसने मेरी मम्मी का ब्रा निकल और आचे से निपल्स को चूसने और काटने लगा. मम्मी बेहोसी की वजह से कुछ महसूस कर नही पा रही थी.
उसने उनकी सारी कमर तक करदी और पनटी के उपर से चूसने लगा. मुझे भी देखके मज़ा अरहा था. फिर मैने सोचा मेरे होते हुए मेरी मम्मी के मज़े कोई और केसे ले सकता है. मैने सम से कहा की इस रॅंड को नीचे ला.
फिर सम मम्मी के आम चूस रहा और मैने मम्मी की सारी कमर तक करके पनटी खोल दिया. मेी अपनी मोबाइल रेकॉर्डिंग पे लगाए और एक अची जगह रख दी जान्हा से पूरा सीन आचे से रेकॉर्ड हो.
सम मुम्मो को चूस्ते काटते लाल कर चुका था फिर उसने अपना पंत उतरा और अपना लंड मम्मी की मो के पास लेगया धीरे से मूह खोला और अपना लंड अंडर डालने. मम्मी बेहोसी की वजह से धीरे धीरे चूसने लगी. मेी नीचे से मम्मी की छूट छत रहता. छूट पे एक भी बाल नही थे एक दूं साफ था. कवि मेी छूट पे उंगली डालता तो कभी जीभ.
अभी सम पूरा जोश मेी था तो हमने जगह बदली और वो मम्मी के छूट के पास आगेया और अपना लंड छूट उपर सेट किया और एक झटके से पेल दिया. लंड का टोपा पूरा अंडर चला गया और दूसरे झटके मेी आधा लंड चला गया. फिर उसने धीरे धीरे अपनी स्पीड बढ़ाए. और यहा मेी मम्मी के मूह मेी अपना लंड डाल दिया और मम्मी धीरे धीरे चूसने लगी, क्या कमाल की फीलिंग थी.
मैने साथ साथ मम्मी के मुममे को भी दबा रहा था. बेहोसी की वजह से मम्मी कुछ कर भी नही पा रहिति. बाज़ लेती हुई पाड़िति. सम ने ढाको की स्पीड और बधाई और सारा पानी उनके छूट मेी छोड़ दिया. मुझसे भी और कंट्रोल नही हुआ और मेी भी मम्मी के मूह मेी झाड़ गया.
फिर हम दोनो ने कपड़े पहने और मम्मी को बाज़ उपर उपर से सारी पहेना दी. और तीनो सो गये थोड़ी देर बाद टीटी आया और हम तीनो को इश् हाल मुम्मय्ं देख कर बोला तुम लोग ये काया कर रहे हो. क्यूंकी मम्मी ने ठीक से सारी नही पहनी थी और हम दोनो मम्मी के मुममे चूस रहे थे.
मैने टीटी को समझाया की ये मेी मेरी मम्मी है और ये बीमार. वो गुस्से से बोला अगेर ये बीमार हैं तो इससे हॉस्पिटल लेके जाओ यहा क्या कर रहे हो रूको मेी पोलीस को बुलाता हूँ. फिर हम दार गये. लेकिन फिर टीटी की नज़र मेरे मम्मी के मुम्मो पड़ी तो वो देखता ही रहेगया. थोड़ी टाइम बाद वो गाते तरफ जाने लगा और जेया के गाते बंद कर दिया.
फिर वो हमारे पास आया और बोला जो भी करना है जल्दी करो. ये सुनते ही हम तीनो मम्मी पे टूट पड़े. पहेले टीटी ने मम्मी की छूट पर अपना लंड सेट किया ढके मारना स्टार्ट और यहा मेी मुम्मो को दबा रहा था और सम अपना लंड मम्मी के मूह में दल कर आगे पीछे कर रहा था.
करीब 10 मीं मेी टीटी का पानी निकल गया और वो आखरी बार मम्मी को मुम्मो को ज़ोरर से दबके चला गया. अभी मेरी बरी थी छूट मरने की. तो मैने अपना लंड छूट पे सेट किया और पेलना शुरू किया. मम्मी धीरे धीरे आवाज़ निकल रही थी लेकिन सम का लंड अभी भी मम्मी के मो था तो ज़्यादा आवाज़ नही आ रही थी.
फिर हमने मम्मी को डोगी स्टाइल मे खड़ा किया और मेी पीछे से छूट मेी लंड डाला रहा और आगे सम मम्मी के मो मे. ज़ोर ढाको की वजह से मम्मी के मुममे हवा मे ज़ोर ज़ोर से झूल रहे थे. वो सीन देखने लायक था.
15-20. मीं बाद मेरा और सम का पानी एक साथ निकल गया. कुछ समय हम वन्हि पे पड़े रहे मम्मी के उपर. थोड़ी देर बाद हमने कपड़े पहने और मम्मी को आचे से कपड़े पहनाए और सो गये.
सुबा जब नीड खुली तो देखा की मम्मी अभी भी सो रहिति. मेने उन्हे उठाया और पूछा की उनकी तबीयत कैसी है तो वो बोली की उन्हे थकान शी लग रही है और तोड़ा सिर दर्द है. उन्हे कल रात का कुछ भी याद नही था की उनके साथ क्या क्या हुआ.
हमने ट्रेन से उतरने के बाद पिताजी के घर गये और वान्हा पे दो दिन गुज़रे.
रिटर्न आते टाइम हम ने एक फर्स्ट क्लास एसी प्राइवेट बर्त वाला सीट बुक किया जिससे कोई आ जा नही सकता. सिर्फ़ हम टीन और कोई नही.
ट्रेन पे चाड ने के बाद हमने अपने बॉक्स मेी गये और बैठ गये. सरिफ एक बार टीटी आया और टिकेट चेक करके चला गया. फहीर मैने और सम ने रूम लॉक किया.
मम्मी अभी भी साधमे मे थी और चुप छाप कोने मेी अपने सीट पे बैठे थी. मेी उन्हे एक और बेहोसी वाली टॅबलेट दी और उन्हे सोने को कहा. करीब एक घंटे बाद टॅबलेट का असर हुआ.
हम दोनो भी पूरे हवस से भरे हुए थे. मम्मी पूरे टॅबलेट के नशे मेी थी उनके कुछ पता नही चल रहा था पर हट पर हिला रही थी. पहेले हुँने मम्मी को पूरा नंगा किया आचेसे मैने पूरे बॉडी का वीडियो बनाया.
फिर सम धीरे से मम्मी के दोनो मुममे दबाने लगा और मम्मी के मो से थोड़ी आवाज़ आई. लेकिन हमने इग्नोर किया. सम अभी पूरा जोश मेी आके ज़ोर ज़ोर से दबाने लगा. मुममे पूरे लाल हो चुके थे फिर मेी फोन स्टॅंड पे लगाया और हम दोनो भी नंगे हो गये और मम्मी के साइड मेी बैठ गये. मम्मी के दोनो हाथ लिए और अपने अपने लंड पे रखा और धीरे धीरे सहएलाया.
हमे पता था की कोई हमे डिस्टर्ब कर वाला है नही तो हम आराम से अपना कम कर रहे थे. थोड़ी देर बाद हमने मम्मी की छूट मेी उंगली डाला. मम्मी तोड़ा हिली और आवाज़ निकली. हमे मज़ा आ रहा था.
फिर मैने उठ कर मम्मी के मो के पास गया और अपना लंड उनकी मो मेी डाल दिया वो धीरे धीरे सक करने लगी. मुझे मज़ा आरहा था. सम ने मम्मी की छूट को आचे से छत रहा था.
थोड़ी देर बाद अपना लंड भी मम्मी के छूट के अंदर दल दिया हुँने आचे से थ्रीसम किया. दोनो को बहुत मज़ा अरहा था. 30 मीं एसए ही चलता रहा फिर हम दोनो ने पानी मम्मी के अंदर छोड़ दिया. हम दोनो ने तोड़ा रेस्ट किया.
फिर हम दोनो मम्मी की साइड मेी लेट गये और मम्मी के एक एक आम अपने मूह मे लिया और काटने और चूसने लगे. हमने मम्मी के दोनो हाथ अपने अपने लंड पे रख दिए और उनकी छूट को मसालने लगे मम्मी तोड़ा हिल रही थी पेर कुछ पता नही चल रहा था उन्हे.
सम ने मम्मी को अपने उपर लेता दिया और अपना लंड उनके अंदर डाल कर छोड़ने लगा मैने मम्मी के गांद के छेड़ मेी तोड़ा नारिल तेल डाला आचे से छेड़ को तेल से भरा और उंगली करने लगा.
थोड़े टाइम बाद उनका छेड़ ढीला होगआया और मैने अपने लंड मेी तोड़ा तेल लगाया और पेल दिया स्टार्टिंग मेी तो गया नही लेकिन एक ज़ोरदार झटके से चला गया. अब मई मम्मी के साथ अनल रहा था बीच बीच मेी उनके गांद को ज़ोर दर तपद मार रहा था थोड़े टाइम बाद हम दोनो तक गये.
हमने तोड़ा रेस्ट किया मम्मी की तरफ देखा तो उनके आम और गांद दोनो लाल हो चुकी थी. फिर मैने अपने मोबाइल का रेकॉर्डिंग ऑफ किया. और हम सो गये.
फिर सुबा उठके हुँने पहेले मम्मी को आचे से कपड़े पहेनए और खुद पहेने. हुँने मम्मी को ब्रेकफास्ट दिया और एक बेहोसी की टॅबलेट दी फिर वो सोने चली गयी.
हुँने तोड़ा वेट किया. फिर हुँने मम्मी को नंगा किया लेकिन इश्स बार हम कुछ डिफरेंट करना छाते थे. ह्यूम पता था की मम्मी को कुछ पता नही चल रहा हैं तो हुँने सोचा क्यूँ ना मम्मी को तोड़ा दर्द दिया जाए.
हम दोनो ने मम्मी के आम को ज़ोर ज़ोर से दबाया पूरा लाल कर दिया फिर उन्हे मो मे लिया और ज़ोर ज़ोर से काटने लगे. हुँने दोनो निपल्स पूरा चबा लिया. लेकिन मम्मी को होश तक नही आया.
फिर हुँने मम्मी की गांद पे लगातार छाते मरने लगे. गांद को पूरा लाल करके फूला दिया. मम्मी को तो होश ही नही था तो मैने मम्मी का मो खोला और उसके अंदर सस्यू किया और मम्मी पूरा पी गयी फिर आस्से ही सम ने मम्मी के मो के अंदर मूटा मम्मी उससे भी पी गयी. कुछ टाइम बाद हुँने मम्मी को आचे से छोड़ना फिर कपड़े फीना दिया.
एक स्टेशन पे गाड़ी रुकी और हमारे कॅबिन मेी दो और पॅसेंजर आए. उनका टिकेट टीटी ने चेक किया और चला गया.
आयेज की कहानी जारी रहेगी, कॉमेंट्स करके ज़रूर बताए कहानी कैसी लगी आपको ताकि अगला पार्ट जल्दी ला साकु.