ही एवेरिवन, मेरा नाम नवीद है. मई आपके सामने अपनी कहानी का अगला पार्ट लेके आया हू. पिछले पार्ट मे आपने पढ़ा था, की कैसे रुकु भाभी के पास मेरी और अंजुम की वीडियो थी.
फिर वो मुझे रूम मे ले गयी, और उन्होने अपनी छूट को मेरे लंड से शांत किया. अब मुझे दो-दो छूट मिल रही थी. एक छूट थी रुकु भाभी की, और दूसरी अंजुम मेडम की. अब आयेज-
लेकिन मेरा दिल तो अब नाहिदा मेडम की छूट भी चाहता था. फिर कुछ दीनो के बाद रुकु भाभी की कॉल आई. उन्होने मुझे कहा-
रुकु भाभी: तेरी कल लॉटरी निकालने वाली है.
मई उसकी बात नही समझा, और मैने उससे पूछा-
मई: कैसी लॉटरी भाभी?
तब उन्होने कहा: तुम्हे तीसरी छूट मिलने वाली है. तुम कल रात को मेरे घर आना.
फिर मई सॅटर्डे को रात मे उनके घर चला गया. मैने डोरबेल बजाई, तो दरवाज़ा भाभी की खूबसूरत देवरानी शमा भाभी ने खोला. उन्हे देखते ही मेरे मूह से पहले “वाउ” निकला, जो ज़ाहिर है उसने भी सुना होगा. क्या मस्त लगती थी वो. बस एक ही कमी थी उसमे, और वो थी उसकी हाइट.
उसकी हाइट बहुत कम थी, और तकरीबन 4’8″ होगी उसकी हाइट. लेकिन उसके बूब्स बहुत बड़े थे, जिन्हे देख कर लगता था, की उसका हज़्बेंड उसके बूब्स से ही ज़्यादा खेलता होगा. फिर उसने मुझे घर मे आने को कहा. और मई उसके घर मे चला गया.
लेकिन उस वक़्त मुझे रुकु भाभी पर बहुत गुस्सा आ रहा था. क्यूकी उन्होने मुझे वाहा चुदाई के लिए बुलाया था, और अब वाहा उनकी देवरानी थी. इसका मतलब ये था, की आज तो पासिबल नही होने वाला था. जब मई वाहा गया, तो वो लोग डिन्नर कर रहे थे.
मैने कुछ देर वाहा टीवी देखा, और फिर मई जाने के लिए निकला. तभी रुकु भाभी बोली-
रुकु भाभी: नवीद भाई, आज मैने आपको क्यू बुलाया है, ये तो आपको मालूम है ना? तो फिर आप जेया क्यू रहे हो? क्या आज आपका इरादा नही है क्या?
तो मैने जवाब दिया: जब यहा शमा भाभी है, तो आप कैसे करोगी?
फिर उन्होने कहा: मेरे पास एक तरकीब है. बस तुम रेडी रहो.
तो मैने कहा: जी मई तो हमेशा रेडी ही हू.
तभी शमा भाभी मेरे बगल मे आकर बैठ गयी, और मैने देखा की उसने एक हल्की सी निघट्य पहनी थी, जिसमे से उसका जिस्म झलक रहा था. और उसके बूब्स तो मानो बाहर आने को बेकरार थे. मैने उनकी तरफ देखा, तो उन्होने मुझे स्माइल दी, और आँख मारते हुए अपना एक हाथ मेरी जाँघो पे रख दिया.
अब मुझे समझने मे देर नही लगी, की रुकु भाभी जिस छूट की बात कर रही थी, वो शमा भाभी की छूट थी. और मैने उसके उस हाथ को जो मेरी जाँघो पे था, उसको पकड़ कर शमा भाभी को अपनी बाहो मे खींच लिया.
मैने जैसे ही उसको अपनी बाहो मे खींचा, वो मुझ पर टूट पड़ी. वो अपने होंठो को मेरे होंठो मे जाकड़ कर खूब चूसने लगी. ऐसा लग रहा था, मानो वो महीनो से भूखी हो. अब उसने धीरे-धीरे मेरे कपड़े उतारना शुरू कर दिया, और साथ ही मुझे किस करती गयी.
फिर अब उसने मेरा अंडरवेर भी निकाला, और मेरा लंड चूसने लग गयी. अब मेरा खुद पर काबू नही रहा. फिर मैने उसको उठा कर, बेडरूम मे ले-जेया कर, उसको बेड पे पटका. उसके बाद मई उसपे टूट पड़ा. फिर मैने उसका टॉप उतारा, और उसको किस करते हुए उसके बूब्स दबाने लगा.
फिर मई उसकी ब्रा थोड़ी उपर करके उसके बूब्स चूसने लगा. उसके बाद मैने अपने हाथो को उसकी पीठ पे ले-जेया कर उसकी ब्रा का हुक खोला, और उसकी ब्रा को उसके जिस्म से अलग कर दिया. अब वो मेरे सामने पूरी टॉपलेस थी. फिर मैने आयेज बढ़ते हुए उसकी निघट्य के घाग्रे का नाडा खोला.
अब वो ब्लॅक पनटी मे मेरे सामने थी. मैने झट से उसकी पनटी भी उतार दी, और देखा उसकी चोकॉलती छूट गीली सी हो रही थी. मैने पहले धीरे से अपना हाथ उसकी छूट पे फेरा. उसके बाद फिर मई अपने बीच की उंगली उसकी छूट मे धीरे-धीरे अंदर-बाहर करने लगा.
अब वो बिन पानी की मछली की तरह तड़पने लगी. फिर मैने अपने होंठ उसकी छूट पे रखते हुए एक प्यारी सी किस दी. इससे मुझे उसकी छूट की महक आने लगी. अब मेरा दिल उसकी छूट को चाटने के लिए ललचाने लगा. फिर मैने बिना कोई देर किए उसकी छूट को चाटने लगा.
क्या स्वाद था उसकी छूट का. तभी अचानक से एक ट्विस्ट आया. रुकु भाभी जो किचन मे काम कर रही थी, वो अंदर आ गयी. उसके हाथ मे आइस-क्रीम थी स्ट्रॉबेरी फ्लेवर वाली, जो मुझे बहुत पसंद है.
उसने थोड़ी सी आइस-क्रीम शमा भाभी की छूट पे लगा दी, और शमा भाभी ने मुझे उसको चाटने का इशारा दिया. ये बहुत ही टेस्टी लग रहा था. तभी मेरे दिमाग़ मे आया, की जिस वक़्त मई अंजुम मेडम को छोड़ता हू, तब उसकी पिंक छूट पे ये पिंक आइस क्रीम कितना मज़ा देगी.
फिर यही सोचते हुए मई शमा भाभी की छूट चाटने लगा. तभी रुकु भाभी भी बीच मे ही मेरा साथ देने आई, और अब हम दोनो मिल कर शमा भाभी की छूट छाते जेया रहे थे. इस बीच दो बार शमा भाभी ने अपना पानी छोढ़ा, और अब वो कहने लगी-
शमा भाभी: मुझसे अब रहा नही जाता. तुम जल्दी से अपना लंड मेरी छूट मे डाल दो.
तभी रुकु भाभी किसी काम से बाहर चली गयी, और मई शमा भाभी की सवारी करना शुरू करने लगा. अब मैने उसको अपने नीचे ले लिया, और उसकी छूट पे अपना लंड रख दिया. मेरे लंड को उसने आचे से अपनी छूट पर सेट करते हुए मुझसे कहा-
शमा भाभी: अब देर ना करो, मुझसे रहा नही जाता. डाल दो अब अंदर.
और मैने अपना लंड शमा भाभी की छूट मे डाल दिया. तभी वो चिल्लाई-
शमा भाभी: एयेए.. मई मॅर गयी. धीरे-धीरे डालो आअहह… आहिस्ता-आहिस्ता करो.
फिर वो भी अपनी गांद उठा-उठा के मेरा साथ देने लगी. उसकी छूट मे मेरा लंड अंदर-बाहर हो रहा था. और वो कह रही थी-
शमा भाभी: आ.. और ज़ोर से करो.
और इसी बीच उसने पानी छोढ़ा. लेकिन मेरा लंड पुर ज़ोर से अंदर-बाहर हो रहा था. तब तक वो 3 बार पानी छोढ़ चुकी थी. अब वो कहने लगी-
शमा भाभी: और कितनी देर मेरे राजा? मई मॅर जौंगी. आज तो तुमने मुझे तका ही दिया.
अब वो ढीली पड़ने लगी थी. लेकिन मैने अपना काम चालू रखा, और धक्के मारने लगा. आख़िर-कार धक्के मारते-मारते मई भी छूटने वाला था. वो समझ गयी थी, की मेरा अब छूटने वाला था. तो वो बोली-
शमा भाभी: इसको अंदर ही छोढ़ दो मेरी जान.
और फिर मैने अपना सारा पानी उसकी छूट मे छोढ़ दिया. उसकी छूट मेरे पानी से भर कर बहने लगी. फिर उसने एक लंबी किस लेते हुए कहा-
शमा भाभी: आज पहली बार मई ऐसे चूड़ी हू.
20 मिनिट की चुदाई के बाद, हमारा पहला रौंद समाप्त हुआ. इसी बीच रुकु भाभी भी अपने कपड़े उतार कर हम दोनो को चूमने लगी. फिर मैने दोनो को बारी-बारी छोड़ा, और सुबा के 4 बजे अपने घर लौटा, ताकि लोगो को पता ना चले.
फिर उस वीक के बाद एक दिन ऐसा आया, जब अंजुम मेडम के घर मे किसी के डेत हुई थी. इसलिए वो चली गयी. फिर इसका फ़ायदा उठाते हुए रुकु भाभी ने नाहिदा मेडम को मुझसे चुधवया. कैसे चुडवाया और कितना मज़ा आया, ये मई आपको बतौँगा.
अंजुम मेडम के घर किसी की डेत हुई थी. इसलिए वो चली गयी, और अब घर मे सिर्फ़ रुकु भाभी और नाहिदा मेडम ही थे. उस रात रुकु भाभी ने मुझे खाने पे बुलाया. जब मई वाहा पहुँचा, तो नाहिदा मेडम ने दरवाज़ा खोला. उस वक़्त मई उन्हे देखता ही रह गया, क्यूकी आज पहली बार मैने उन्हे गाउन मे देखा था.
वो बहुत ही हॉट लग रही थी. फिर उसने मुझे अंदर बुलाया, और हमने खाना खाया. उसके बाद प्लान के मुताबिक रुकु भाभी ने नाहिदा मेडम को फिल्म देखने पे माना लिया. फिर फिल्म स्टार्ट हुई.
लेकिन जब फिल्म स्तर हुई, तो नाहिदा मेडम की आँखें खुली की खुली रह गयी. क्यूकी टीवी पे उसकी अपनी फिल्म चल रही थी, जिसमे वो फिंगरिंग कर रही थी. वो ये सब देख कर शॉक्ड हो गयी. तभी रुकु भाभी अपने हाथ उसके जिस्म पे घुमाने लगी, जिसका उसने विरोध किया. फिर रुकु भाभी ने उसको कहा-
रुकु भाभी: अगर तुम ये सब नवीद के साथ करोगी, तो मई ये किसी को नही बतौँगी.
ये सुन कर वो रोने लगी, और कहने लगी-
नाहिदा मेडम: मुझे माफ़ कर दो.
जिस पर रुकु भाभी ने कहा-
रुकु भाभी: अगर तुम ऐसा नही करोगी, तो इस वीडियो को मई सबको दिखौँगी.
तब नाहिदा मेडम कहा: नवीद भाई, मई तो आपको पहले से चाहती हू. तो आप ने ऐसे क्यू किया? आप सीधा मुझे बोलते, तो भी मई आपके साथ ऐसे ही सोने को तैयार हो जाती. इसमे रुकु भाभी को लाने की क्या ज़रूरत थी?
तब रुकु भाभी बोली: जब तुम इसको चाहती हो, तो मई बीच मे नही अवँगी. तुम लोग अपना काम शुरू करो.
तब मैने नाहिदा मेडम को उठा कर बेडरूम मे ले गया, और हम दोनो भरपूर किस करने लगे. हम दोनो एक-दूसरे को लगभग एक घंटे तक चूस्टे रहे. फिर उसने कहा –
नाहिदा मेडम: मई तुम्हे काई दीनो से चाहने लगी थी. लेकिन मई कभी तुम्हे बता नही सकी.
फिर मैने उसके बूब्स भी दबाए. उसके बूब्स आचे ख़ासे बड़े थे. मई उन्हे मस्त तरीके से मसल रहा था, और उसके मज़े लूट रहा था. इसमे वो भी मेरा बखूबी साथ दे रही थी. फिर धीरे-धीरे हम एक-दूसरे के जिस्म से कपड़े डोर करने लग गये.
अब उसने मेरे जिस्म पे सिर्फ़ अंडरवेर ही बाकी रखा था, और मैने भी उसको सिर्फ़ ब्रा और पनटी मे छोढ़ा था. जो उसने रेड ब्रा और रेड पनटी पहनी थी, वो उस ब्रा पनटी मे मुझ पर क़यामत ढा रही थी. मई अब उसको उपर से नीचे तक चाट रहा था.
वो भी मुझ पर टूट पड़ी थी. ऐसा लग रहा था, जैसे वो जानम-जानम की प्यासी हो. फिर सडन्ली उसने मेरा अंडरवेर उतारा, और मेरे लंड को चूसने लगी. ऐसा लग रहा था, मानो वो चॉको आइस-क्रीम चूस रही हो. फिर 10- 15 मिनिट के बाद मैने अपना सारा माल जो मेरे लंड से निकालने वाला था, वो उसके मूह मे ही छोढ़ दिया.
वो मेरा सारा माल पी गयी, और मेरे लंड को चाट-चाट के सॉफ कर दिया. फिर कुछ देर बाद मैने उसकी रेड वाली ब्रा भी उसके जिस्म से हटा दी. अब मई उसके बूब्स चूसने लगा. क्या मिठास थी उसमे. फिर कुछ देर बाद मैने उसकी पनटी भी उसके जिस्म से निकाल फेंकी.अब वो मेरे सामने एक-दूं न्यूड थी. और उसकी वो छूट बड़ी प्यारी लग रही थी. उसकी छूट पर हल्की-हल्की झाँते उग रही थी, जो की अभी कुछ ही दिन पहले उसने सॉफ की थी. मैने उसकी छूट पे धीमे से हाथ फेरा, और उसकी छूट को निहारने लगा. उसकी छूट स्क छ्होटा सा गुलाबी रंग का छेड़ था.
छूट देख कर ऐसा फील हो रहा था, मानो जैसे कोई काली खिल रही हो. अब मैने उसकी छूट पे एक प्यारी सी किस डेडी. मेरी उस किस से वो सिहार गयी, और उसने हल्की सी एक आअहह भारी. उसकी हल्की सी आहह सुन कर, अब मुझे उसपे और भी प्यार आने लगा.
फिर मैने अपनी एक उंगली उसकी छूट मे हल्के से डाली, तो मैने महसूस किया की उसकी छूट मे चिकना पं था. फिर मैने अपनी ज़ुबान को उसकी छूट मे डाला, तो वो मचलने लगी. अब मई अपनी ज़ुबान से उसकी छूट को चाट रहा था. एक अलग स्वाद था उसकी छूट का, नामकीन सा स्वाद.
उसका स्वाद मुझे बेहद पसंद आया, और मई उसको करीब 30 मिनिट तक चाट रहा था. अब वो बस आवाज़े निकाल रही थी.
नाहिदा मेडम: एयाया.. हह.. एयाया.. हह…
अब मेरा लंड फिरसे खड़ा हो गया था, और मई उसको छोड़ने के लिए तैयार था. फिर मैने अपने लंड को उसकी छूट पे रखा, और एक हल्का सा धक्का दिया. लंड के धक्के से वो मछली की तरह तड़पने लगी, और आहें भरने लगी.
आज पहली बार वो कोई लंड अपनी छूट मे ले रही थी. उसको बहुत तकलीफ़ होने लगी, और वो कहने लगी-
नाहिदा मेडम: निकालो इसको आहह.. बहुत दर्द हो रहा है.
मैने अब तोड़ा लंड बाहर निकाला, और फिर कुछ देर बाद उसको छोड़ना शुरू कर दिया. फिर मई उसको छोड़ता रहा. 10-15 धक्के मारने के बाद उसको भी मज़ा आने लगा, और अब वो भी मेरा साथ देने लगी थी. मई लगातार धक्के मार रहा था, और वो . हुए मज़े ले रही थी.
वो बड़ी कामुक आहें भर रही थी, और इस बीच वो टीन बार झाड़ चुकी थी. फिर इसी तरह से करीब 15 मिनिट की चुदाई के बाद, अब मेरा भी माल झड़ने का वक़्त करीब आने वाला था. फिर मैने अपना सारा पानी उसकी छूट मे छोढ़ दिया. और हम इसी तरह एक-दूसरे की बाहो मे सो गये.
इस तरह से मैने उस घर मे 4 औरतो की छूट को छोड़ा. और अब भी जब भी कभी मौका मिलता है, तो मई कभी अंजुम मेडम, तो कभी किसी और को छोड़ता हू. लेकिन छूट तो मुझे मिलती ही है.
तो दोस्तो कैसी लगी मेरी स्टोरी, मुझे [email protected] पे मैल करके ज़रूर बताए. और जो भी भाभी या आंटी मुझसे चूड़ना चाहती है, वो मुझे मैल के ज़रिए कॉंटॅक्ट कर सकती है.
थॅंक्स फॉर रीडिंग मी रियल एक्सपीरियेन्स.